VOICE OF HULGULANLAND AGAINST GLOBLISATION AND COMMUNAL FACISM. OUR LAND SLOGAN BIRBURU OTE HASAA GARA BEAA ABUA ABUA. LAND'FORESTAND WATER IS OURS.
Sunday, March 27, 2011
प्रकृति के जीवन चक्र के साथ आदिवासी समाज का जीवन’ शैली जुड़ा हुआ है।
GONDWANA TIMES....
ADIVASI CULTURE IN AKHADA...
प्रकृति के साथ रचा-बसा आदिवासी समाज की कला-संस्कृति, अपनी मान्याताएं हैं। इसको वहीं समाज आसानी से समछ सकता है, जो प्रकृति को करीब से समझता हो। प्रकृति के जीवन चक्र के साथ आदिवासी समाज का जीवन’ शैली जुड़ा हुआ है। प्रथ्वी पूरब से पश्चिम घूम रहा है। किसान खेत मे हल जोतता है-चलाता है, तो वह बैल के साथ पूरब से पश्चिम घूमता है। महिलाएं आनाज जांता में पीसतीं हैं-तो जांता को पूरब से पश्चिम घूमाती हैं। पेड़ पर कोई लतर चढ़ता है-तो पूरब से पश्चिम घूमते हुए पेड़ पर चढ़ता है। अखाड़ा में लोक नृत्य चलता है, कई पंक्तियों में जोड़ा कर नाचते हैं, मंदरीकार, नागाड़ा, ढ़ोलक बजाने वाले, गीत गाने वालों से अखाड़ा भरा रहता है-तब भी वे पूरब से पश्चिम ही बढ़ते हैं। खेत में काम करते हैं-तो वे पूरब से पश्चिम ही काम करते बढ़ते हैं। खलीहान में बैल से धान दौंरी करते हैं-तो बैल के साथ पूरब से पश्चिम ही घूमते हैं। इसलिए गोंड़ आदिवासी समाज ने अपने प्रकृतिकमूलक ज्ञान बिज्ञान -तकनीकी से घडी अविष्कार किया है। गोंडवाना टाम्ईस-घड़ी बनाना प्ररंम्भ किया, इसमें घड़ी का सूई पूरब से पश्चिम घूम रहा है। घड़ी में 12 के बाद 11, 10....का समय बैठया गया है। कई बार अध्ययन के बाद ही इस घड़ी के समय को आप पकड़ पाऐंगे। जब कि व्यसायिक कंपानियों द्वारा निर्मित घड़ी का सूईपश्चिम से पूरब घूमता है।
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Didi Konark ka Sjurya Mandir Ke baare me maine suna tha tha ki Uska Pahiya jo hai Ghadi ka kaam karta tha aur theek Aapke photo wale ghadi ki tarah ghumti thee......now what is clock wise and what is anti-clockwise
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